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लेखनी आधे अधूरे मिसरे -प्रसिद्ध पंक्तियाँ काब्य प्रतियोगिता-09-Jul-2023 जब अकेला रहा उसकी याद आई

शीर्षक:- जब अकेला रहा उसकी याद  आई


जब अकेला रहा उसकी याद आई।
उस याद  ने मुझे सच्ची राह दिखाई ।।

जब मैं उसके पास था तब उसकी याद नहीं आती थी।
मैं अपनी दुनियाँ  में मस्त था वह मुझे बुलाती थी।
सच है इन्सान  की पहचान  उसके जाने पर होती है।
उसके रहते हमें उसकी अहमियत  पता नहीं होती है।।
मां हमें आज वह तेरा समझाना बहुत याद आता है।
सच्चाई  की राह पर चलना सिखाना हमें याद आता है।।
मां मैं तेरा वह जो कर्ज है कैसे अदा कर पाऊँगा।
आज मैं अकेला खड़ा  हूँ तुझे कहाँ कैसे मैं पाऊँगा।
जबतक मैं घर नहीं आता था तबतक तू नहीं सोती थी।
तू दरवाजे पर खड़ी खड़ी  मेरी राह तक रही होती थी।।
हे माँ तू फिर लौटकर आजा मुझे अपने गले से लगा ले।
मुझे अपनी छाती से लगाकर प्यार भरी  डांट लगा ले।।

आधे अधूरे मिसरे/प्रसिद्ध  पंक्तियाँहेतु रचना।
नरेश शर्मा " पचौरी"

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2 Comments

बेहतरीन अभिव्यक्ति

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👌👏👍🏼

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